बिलासपुर। जमीनो के भाव से गाइडलाइन दरों में दी जा रही 30त्न की छूट को समाप्त करना साय सरकार का राज्य की जनता के साथ घोर अन्याय है, शहर ब्लॉक कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष अरविंद शुक्ला ने कहा कि साय सरकार गरीबों को घर जमीन खरीदने से रोकना चाह रही है, जनता इस अन्याय का बदला लोकसभा चुनाव में लेगी, भाजपा की रमन सरकार के दौरान भाजपाई सत्ताधीसों के दबाव में जमीनों के गाइडलाइन की दरों में हर साल 10 से 15त्न तक बढ़ाने की परंपरा बन गई थी । जिसके कारण अनेकों जगह बाजार भाव से दुगनी गाईड लाईन की दरें हो गई थी । आम आदमी की इसी परेशानी को देखते हुए तत्कालीन कांग्रेस की भूपेश सरकार ने गाईड लाईन की दरों में 30 प्रतिशत की छूट दिया था और पूरे पांच सालो तक कांग्रेस सरकार ने गाईड लाईन की दरों में एक रुपए की बढ़ोतरी भी नहीं किया था। जिसके कारण आम आदमी ,गरीब और मध्यम वर्ग को मकान, दुकान, खेत खरीदने में सहूलियत हुई तथा गाईड लाईन की दरें कम होने से आम आदमी को अन्य टैक्सों में भी राहत मिल गाईड लाईन की दर 30त्न कम होने से राज्य के राजस्व में भी भारी बढ़ोतरी हुई थी। पावरनामा और एग्रीमेंट करवा कर संपत्ति खरीदने की परंपरा खत्म हुई तथा लोग रजिस्ट्री करवाने लगे जिससे सरकार के राजस्व में बढ़ोतरी हुई कृषि के बाद रियल एस्टेट ही ऐसा क्षेत्र है जहां सबसे ज्यादा रोजगार मिलता है ।इस छूट से राज्य के रियल स्टेट क्षेत्र में जबरदस्त उछाल आया था। ब्लॉक कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष अरविंद शुक्ला ने कहा कि वित्त मंत्री गलत बयानी कर रहे हैं कि इस छूट को खत्म करने से किसानों को फायदा होगा। किसानों को मुआवजा गाईड लाईन की रेट पर मिलता है यह मुआवजा शहरी क्षेत्र में दोगुना और ग्रामीण क्षेत्र में चार गुना मिलता है, राज्य में गाईड लाईन का रेट कम नहीं किया गया, उसमें खरीदी बिक्री में छूट दी गई थी। गाईड लाईन के रेट में 30त्न की छूट रजिस्ट्री के समय मुद्रांक पेपर की गणना में की जाती है। किसान के मुआवजा की गणना मूल गाईड लाईन की दरों के आधार पर ही होगी। अपने सरकार की टैक्सखोरी वाली नीति के बचाव में किसानों के कंधों पर बंदूक रखकर चलाना बंद करें। ब्लॉक कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष अरविंद शुक्ला ने कहा कि जब भी भाजपा की सरकार आती है वह गरीबों को, छोटे व्यापारियों को परेशान करने वाली नीति बनती है। पहले भी भाजपा की सरकार के समय 5 डिसमिल से कम जमीनों की रजिस्ट्री पर रोग लगा दिया था ताकि गरीबों के प्लॉट ना बिके और भाजपाई भूमाफिया का एकाधिकार चले फिर वही दौर वापस लाने की कोशिश शुरू की जा रही है। गाईड लाईन की दरें छूट बंद होने का नुकसान आम आदमी के साथ जमीन के छोटे मझौले व्यापारियों को भी होगा।